कम कैलोरी वाले हेल्दी कम्फर्ट फूड रेसिपीज़ कैसे बनाएं | My Kitchen Diary

अब स्वाद और सेहत दोनों मिलेंगे – घर पर बनाएं हेल्दी कम्फर्ट फूड

जब भी कम्फर्ट फूड का नाम आता है ना, तो बस दिल खुश हो जाता है। ऐसा लगता है जैसे किसी ने आपके पसंदीदा खाने का जादू सा बना दिया हो, जो बस आपके मूड को एकदम ऊपर ले आए। वो गरम-गरम मैगी, चटपटी समोसे, बटर चिकन, या फिर कचौड़ी सच में, इनका नाम सुनते ही जैसे पेट में हलचल सी हो जाती है। पर क्या होता है ना, जब वही फूड हमारी सेहत पर भारी पड़ने लगता है, तो मजा थोड़ा घटने लगता है। देखिए, ये कम्फर्ट फूड्स अक्सर बड़े ही स्वादिष्ट होते हैं, लेकिन इनमें कैलोरी, वसा और शक्कर की मात्रा इतनी ज्यादा होती है कि शरीर पर इनका असर पड़ने में वक्त नहीं लगता। समझिए, अगर हम हर दिन यही सब खाते रहें, तो शारीरिक सेहत को लेकर थोड़ी परेशानी हो सकती है। अब, ये बात हम सबको समझ आ जाती है, फिर भी मज़े से इनका स्वाद छोड़ना कोई आसान काम नहीं होता। और इसलिए अक्सर लोग हेल्दी खाने से कतराते हैं, क्योंकि उन्हें लगता है कि हेल्दी खाने में वो स्वाद नहीं मिलेगा, जो अपने फेवरेट फूड्स में होता है। लेकिन आपको बता दूं, ये सच्चाई नहीं है। अगर हम थोड़ी सी क्रिएटिविटी दिखाएं, तो हेल्दी खाने का स्वाद भी उतना ही मजेदार हो सकता है। और कौन कहता है कि अगर हेल्दी खाना है तो स्वाद का त्याग करना पड़ेगा? बिल्कुल नहीं। अगर हम अपनी रेसिपीज़ में थोड़े छोटे-छोटे बदलाव करें, तो वो स्वाद और सेहत दोनों को संतुलित कर सकते हैं। और जब हम इसे सही तरीके से तैयार करते हैं, तो पुराने फेवरेट डिशेज़ को भी हेल्दी बना सकते हैं, बिना किसी फ्लेवर की कमी के।सोचिए, वो मीठी-मीठी मिठाई हो, या फिर वो तला हुआ फास्ट फूड अगर थोड़ी समझदारी से तैयार किया जाए, तो आप दोनों का आनंद ले सकते हैं। क्या मजा होगा ना, जब बिना किसी guilt के आप अपनी पसंदीदा डिश खा सकेंगे, और फिर भी अपनी सेहत का ख्याल रख सकेंगे। तो अब, चलिए जानते हैं कुछ ऐसी आसान और फंकी टिप्स जिनसे आप अपने कम्फर्ट फूड को हेल्दी बना सकते हैं, और वो भी बिना उसका स्वाद खोए। और यकीन मानिए, थोड़ा सा प्रयास करने से आप अपने खाने में भी बदलाव महसूस करेंगे।



1. अनहेल्दी इंग्रेडिएंट्स को हेल्दी विकल्पों से बदलें

हमारे फेवरेट खाने में अक्सर वो इंग्रेडिएंट्स होते हैं, जो शायद हमारी सेहत के लिए बिल्कुल अच्छे नहीं होते। जैसे मैदा, सफेद चीनी, और बटर इन सबका स्वाद अलग ही होता है, पर क्या करें, ये सेहत के साथ खिलवाड़ भी कर सकते हैं। अब यही वो जगह है, जहां थोड़ा सा बदलाव लाकर हम इन स्वादिष्ट डिशेज़ को हेल्दी बना सकते हैं, बिना उनकी मस्ती को छोड़े। सबसे पहले, अगर हम मैदे की जगह ओट्स, रागी या मल्टीग्रेन आटा इस्तेमाल करें, तो परांठों और स्नैक्स को एक हेल्दी ट्विस्ट मिल जाएगा। ओट्स और रागी में फाइबर की अच्छी खासी मात्रा होती है, जो न सिर्फ हमारे पाचन को बेहतर बनाता है, बल्कि शरीर को लंबे वक्त तक ऊर्जा भी देता है। आप समझिए, जितनी बार भी ये खाएंगे, पेट भरपूर रहेगा, और आपको बार-बार भूख नहीं लगेगी। अब, मलाई और क्रीम को तो हम अक्सर अपनी पसंदीदा डिश में डालते हैं, लेकिन अगर इन्हें हंग कर्ड या ग्रीक योगर्ट से बदल लें, तो फायदा होगा। हंग कर्ड और ग्रीक योगर्ट में प्रोटीन और प्रोबायोटिक्स होते हैं, जो पाचन तंत्र को मजबूत बनाते हैं। मतलब, खाने का स्वाद भी बना रहेगा, और पेट में हलचल भी नहीं होगी। बटर या मार्जरीन की जगह अगर एक्स्ट्रा वर्जिन ऑलिव ऑयल अपनाएं, तो ये दिल के लिए भी फायदेमंद रहेगा। ऑलिव ऑयल में मोनोअनसैचुरेटेड फैट होता है, जो दिल की सेहत को बेहतर बनाता है। मतलब, दिल से जुड़ी कोई चिंता नहीं, और बटर का स्वाद भी मिलता रहेगा। अब सफेद चीनी! ये तो कई बार हमारे फेवरिट मीठे में मिलती है, लेकिन अगर उसे खजूर, नारियल चीनी, या शहद से बदलें, तो न सिर्फ मिठास मिलेगी, बल्कि रक्त शर्करा को भी कंट्रोल करने में मदद मिलेगी। खजूर और नारियल चीनी में प्राकृतिक मिठास होती है, जो सेहत के लिए और भी बेहतरीन है। और हां, डीप फ्राई करना तो सबको अच्छा लगता है, लेकिन अगर एअर फ्रायर या बेकिंग का तरीका अपनाएं, तो तेल की जरूरत कम पड़ेगी और कैलोरी भी घट जाएगी। एअर फ्रायर या बेकिंग से खाना हल्का और हेल्दी हो जाता है, और वही पुराने फ्राई खाने का स्वाद भी मिलेगा। हम इन छोटे-छोटे बदलावों को अपनी रेसिपीज़ में अपनाएं, तो बिना स्वाद का कोई समझौता किए, हम अपने खाने को हेल्दी बना सकते हैं। अब, जब भी अपने फेवरेट खाने को ट्रीट करो, दिल से सोचिए स्वाद और सेहत दोनों का मजा लें, बिना किसी गिल्ट के!

अनहेल्दी इंग्रेडिएंट्स


2. कुकिंग टेक्निक्स में बदलाव करें

आपने कभी सोचा है कि सिर्फ जो खाने की चीज़ें हम इस्तेमाल करते हैं, वो ही नहीं, बल्कि खाने को बनाने का तरीका भी हमारी सेहत पर असर डालता है? बिलकुल, सही कुकिंग टेक्निक से हम खाने को और भी हेल्दी बना सकते हैं, और वो भी बिना स्वाद की कोई कमी आए। सबसे पहले तो, डीप फ्राई की बजाय अगर हम ग्रिलिंग, बेकिंग या स्टीमिंग का तरीका अपनाएं, तो खाने में तेल की मात्रा बहुत कम हो जाती है। मसलन, ग्रिल किया हुआ चिकन, जितना टेस्टी होता है, उतना ही कम फैट वाला भी। और बेकिंग से तो बेक्ड वेजिटेबल्स का स्वाद ही अलग हो जाता है, जैसे आलू, गाजर, ब्रोकोली इनका स्वाद बढ़ जाता है और सेहत भी बनी रहती है। अब बात करते हैं स्टर-फ्राई की ये बहुत पॉपुलर तरीका है, लेकिन अगर इसमें तेल कम इस्तेमाल करें और नॉन-स्टिक पैन का इस्तेमाल करें, तो खाना न सिर्फ कम कैलोरी में बनेगा, बल्कि उसमें ज़्यादा पोषक तत्व भी रहेंगे। नॉन-स्टिक पैन में तेल की कम जरूरत होती है, तो समझिए कि आपका खाना हल्का और हेल्दी हो जाएगा। प्रेशर कुकिंग और स्लो कुकिंग तकनीकों से भी खाना ज्यादा सेहतमंद बन सकता है। ये दोनों तकनीकें कम समय में खाना पकाती हैं, जिससे खाने के सारे न्यूट्रिएंट्स यानी पोषक तत्व बरकरार रहते हैं। इसका मतलब ये कि खाना जल्दी बनता है, और खाने में सारी ताजगी और पौष्टिकता बनी रहती है। अगर आप माइक्रोवेव में खाना बना रहे हैं, तो ओवरकुकिंग से बचें। ज्यादा पकाने से फूड के सारे पोषक तत्व खत्म हो सकते हैं। माइक्रोवेव में हल्का पकाना, यकीन मानिए, सेहत के लिए ज्यादा फायदेमंद होता है। और हां, वेजिटेबल्स को ज्यादा पकाने से बचें। जब हम वेजिटेबल्स को हल्का सा सॉते करते हैं, तो उसमें जो विटामिन्स और मिनरल्स होते हैं, वो बने रहते हैं। ज्यादा पकाने से ये खत्म हो सकते हैं, और फिर तो हमें उतना फायदा नहीं मिलता। तो देखिए, अगर हम खाने को सही तरीके से बनाएं, तो न सिर्फ उसका स्वाद बेहतर होता है, बल्कि वो ज्यादा हेल्दी भी हो जाता है। छोटे-छोटे बदलावों से आपका खाना हमेशा हेल्दी और स्वादिष्ट रहेगा, और आप उसे बिना किसी टेंशन के खा सकेंगे।

कुकिंग टेक्निक्स


3. हेल्दी कम्फर्ट फूड रेसिपीज़ की सामग्री में न्यूट्रिशन जोड़ें

कम्फर्ट फूड को हेल्दी बनाने का एक और तरीका है कि हम उसमें पोषक तत्वों से भरपूर चीज़ें डालें। ऐसा करने से ना सिर्फ वो डिश हेल्दी हो जाती है, बल्कि उसका स्वाद भी और मजेदार हो जाता है। जैसे, अगर आप पास्ता या मैगी बना रहे हैं, तो उसमें ढेर सारी सब्ज़ियाँ डालें। टमाटर, गाजर, शिमला मिर्च, और पालक जैसी सब्ज़ियाँ फाइबर और विटामिन्स से भरपूर होती हैं, जो शरीर के लिए बहुत फायदेमंद हैं। ये सब्ज़ियाँ न सिर्फ खाने को और स्वादिष्ट बनाती हैं, बल्कि आपको भरपूर पोषण भी देती हैं। अब, परांठे में आलू की बजाय अगर आप मिक्स वेज, पनीर या मूंग दाल भरें, तो ये आपको पोषण की दृष्टि से ज्यादा फायदेमंद होगा। मिक्स वेज में फाइबर होता है, और पनीर में प्रोटीन, जो हमारे शरीर के लिए जरूरी हैं। इससे आपके परांठे और भी हेल्दी और स्वादिष्ट बन जाएंगे। खिचड़ी को सुपरफूड बनाना हो तो, तुअर, मूंग और कुछ सब्जियाँ डालकर इसे और भी पोषक तत्वों से भर सकते हैं। खिचड़ी में ये दाले और सब्जियाँ डालने से न सिर्फ उसका स्वाद बढ़ता है, बल्कि ये एक बेहतरीन पोषण का स्रोत बन जाती है। उपमा या पोहा बनाते वक्त अगर उसमें मूंगफली, हरी मिर्च और करी पत्ते डालें, तो ये आपको अच्छे फैट्स और प्रोटीन का अच्छा स्रोत देती है। मूंगफली में प्रोटीन और हेल्दी फैट्स होते हैं, जो आपके शरीर के लिए बहुत लाभकारी होते हैं। फ्रूट्स और नट्स के साथ ओट्स खीर या हलवा तैयार करें, तो ये न सिर्फ सेहत के लिए बेहतरीन होते हैं, बल्कि शरीर को लंबे समय तक ऊर्जा भी देते हैं। ओट्स और नट्स दोनों ही फाइबर और हेल्दी फैट्स से भरपूर होते हैं, जो आपको एक पूरा और संतुलित आहार प्रदान करते हैं। तो, आप देख सकते हैं कि इन छोटे-छोटे बदलावों से आप अपने फेवरेट कम्फर्ट फूड को हेल्दी बना सकते हैं। अब न सिर्फ स्वाद में कोई कमी नहीं आएगी, बल्कि पोषण भी पूरा मिलेगा। हेल्दी खाना बनाना कोई मुश्किल काम नहीं है, बस थोड़ी सी सोच और मेहनत से आप अपने खाने में पोषक तत्वों का स्तर बढ़ा सकते हैं और उसे और भी सेहतमंद बना सकते हैं।

हेल्दी फूड रेसिपीज़


4. साइज और पोर्शन कंट्रोल को समझें

हमें हमेशा यह ध्यान रखना चाहिए कि हम कितना खा रहे हैं। बहुत बार हम बस खाने के पीछे दौड़ते रहते हैं और इस बात का ख्याल नहीं रखते कि हमारे शरीर को क्या और कितना चाहिए। इसलिए कुछ छोटी-छोटी आदतें डालकर हम अपने खाने को सही तरीके से कंट्रोल कर सकते हैं, और इस तरह से सेहत भी बनी रहती है। एक आसान तरीका है कि आप हमेशा मील को छोटे बर्तनों में परोसें। जब खाना कम बर्तन में होता है, तो हमें लगता है कि पूरा खा लिया, और इस से संतोष भी मिलता है। आपको शायद लगता हो कि कम खाना मिलेगा तो भूख नहीं लगेगी, लेकिन यही तरीका आपके खाने की मात्रा को सीमित करता है, जिससे ओवरईटिंग से बचा जा सकता है।अगर आप खाना शुरू करने से पहले सलाद या कोई हलका वेज सूप ले लें, तो पेट जल्दी भरने का अहसास होगा। इससे आप खाना थोड़ा कम खाएंगे, और ज्यादा पेट नहीं भर पाएगा। खाने के दौरान ध्यान रखना बहुत जरूरी है। ध्यान से और धीरे-धीरे खाना खाने से आप ज्यादा खा नहीं पाएंगे। ये माइंडफुल ईटिंग का तरीका है, जिससे आपका कैलोरी इनटेक कंट्रोल में रहता है और वजन भी बैलेंस में रहता है। जब आप खा रहे होते हैं, तो खाने पर पूरा ध्यान दें कभी-कभी हमारी आदत होती है कि हम फोन देखते रहते हैं या टीवी ऑन करते हैं, और इससे हम ज्यादा खा जाते हैं। अब स्नैक्स के लिए भी एक तरीका है उन्हें छोटे पैक में स्टोर करें। ऐसा करने से ओवरईटिंग से बचाव होगा, क्योंकि आप बस वही खाएंगे जो पैक में है और ज्यादा नहीं। साथ ही, हर मील में संतुलन बनाए रखना जरूरी है। कार्ब्स, प्रोटीन, फैट और फाइबर का सही मिश्रण जरूरी होता है ताकि शरीर को सभी पोषक तत्व मिल सकें। यह संतुलन आपको न सिर्फ ऊर्जा देगा, बल्कि शरीर को सही तरीके से काम करने के लिए भी मदद करेगा। इस तरह, पोर्शन कंट्रोल से आप अपनी सेहत का सही ध्यान रख सकते हैं। धीरे-धीरे ये आदतें आपकी जीवनशैली का हिस्सा बन जाएंगी, और आपको हमेशा स्वस्थ और फिट रखने में मदद करेंगी।

साइज और पोर्शन कंट्रोल


5. होममेड ड्रेसिंग और सॉस का करें इस्तेमाल

बाजार में मिलने वाले सॉस में अक्सर प्रिजर्वेटिव्स और अतिरिक्त चीनी होती है, जो हमारी सेहत के लिए कोई खास अच्छे नहीं होते। तो क्यों न हम खुद ही घर पर हेल्दी सॉस और ड्रेसिंग तैयार करें, जो न सिर्फ स्वादिष्ट हों, बल्कि सेहत के लिए भी फायदेमंद हों। पहली बात, अगर आप टोमैटो सॉस के शौक़ीन हैं, तो बाजार का प्रिजर्वेटिव वाला सॉस छोड़कर घर पर बनाएं टोमैटो बेस सॉस। घर की बनी टोमैटो सॉस में चीनी कम होती है और इसका स्वाद बाजार वाले से कहीं ज़्यादा बढ़िया होता है। और जब ये घर के मसाले और ताजे टमाटर से बनता है, तो उस सॉस में वो स्वाद और ताजगी होती है, जो आपको किसी पैक्ड सॉस में नहीं मिलेगी। सलाद को हेल्दी और टेस्टी बनाने के लिए आप ऑलिव ऑयल, नींबू, हनी और सरसों से एक फ्रेश ड्रेसिंग तैयार कर सकते हैं। यह ड्रेसिंग न सिर्फ हेल्दी फैट्स और एंटीऑक्सीडेंट्स से भरपूर होती है, बल्कि आपके सलाद को एक नया और अलग फ्लेवर भी देती है।अगर आप डिप्स के शौक़ीन हैं, तो गार्लिक योगर्ट डिप्स, हर्ब्स स्प्रेड और मिंट सॉस से अपने खाने में स्वाद और पोषण दोनों बढ़ा सकते हैं। ये सॉस न केवल स्वादिष्ट होते हैं, बल्कि पाचन के लिए भी अच्छे होते हैं। गार्लिक और हर्ब्स का कॉम्बिनेशन तो हमेशा से ही सेहतमंद माना गया है। होममेड पीनट बटर भी एक बेहतरीन ऑप्शन है, जो आप अपने फूड में जोड़ सकते हैं। इसमें प्रोटीन और हेल्दी फैट्स होते हैं, जो शरीर के लिए फायदेमंद होते हैं। घर का बना पीनट बटर खाने में स्वादिष्ट तो होता ही है, साथ ही ये आपके हेल्थ के लिए भी काफी अच्छा होता है। अगर आप चटनी के शौक़ीन हैं, तो टेम्पलेट डिप्स को दही या एवोकाडो से रिप्लेस करें। दही और एवोकाडो में प्रोटीन और अच्छा फैट्स होते हैं, जो सेहत के लिए बेहतरीन होते हैं। ये न केवल आपके खाने में फ्लेवर जोड़ते हैं, बल्कि आपको भरपूर पोषण भी देते हैं। तो, इन हेल्दी सॉस और ड्रेसिंग के साथ आप अपने खाने को और भी स्वादिष्ट और सेहतमंद बना सकते हैं। थोड़ा सा प्रयास और स्वाद का एक नया ट्विस्ट, बस यही है जो हेल्दी खाना बनाता है!

होममेड सॉस


6. स्मार्ट सब्स्टीट्यूशन से फेवरेट रेसिपीज़ को हेल्दी बनाएं

अगर आप चाहते हैं कि आपकी पसंदीदा रेसिपी हेल्दी हो, तो बस कुछ स्मार्ट और आसान सब्स्टीट्यूशन्स करने की जरूरत है। ये बदलाव छोटे होंगे, लेकिन असर बड़े होंगे। सबसे पहले, अगर आप ब्रेड पकौड़े के शौक़ीन हैं, तो उनकी जगह बेसन टोस्ट या ग्रिल्ड ब्रेड रोल ट्राय करें। बेसन में प्रोटीन और फाइबर होता है, जो आपको लंबे समय तक संतुष्ट रखता है, और आपको वो भारीपन और आलस का अहसास नहीं होगा जो ब्रेड पकौड़े के बाद होता है।आलू टिक्की को छोड़कर आप स्प्राउट्स टिक्की बना सकते हैं। स्प्राउट्स में फाइबर और प्रोटीन की मात्रा काफी ज़्यादा होती है, जो सेहत के लिए बहुत फायदेमंद है। इसमें कोई तला-भुना चीज़ नहीं होती, तो ये हल्का भी होता है और ज़्यादा पोषण से भरपूर। अगर आपको मलाईदार पास्ता पसंद है, तो उसे ग्रीक योगर्ट और ताजे सब्ज़ियों के साथ बनाएं। ग्रीक योगर्ट में प्रोटीन और प्रोबायोटिक्स होते हैं, जो न सिर्फ स्वाद बढ़ाते हैं, बल्कि आपके पाचन तंत्र को भी हेल्दी रखते हैं। मैदे के मोमोज़ की बजाय रागी मोमोज़ बनाएं। रागी में फाइबर की मात्रा ज़्यादा होती है, जो पाचन में मदद करता है, और यह कम कैलोरी वाला होता है। तो न सिर्फ ये हेल्दी होते हैं, बल्कि पाचन के लिए भी अच्छा रहते हैं। अगर मीठा खाने का मन हो, तो शुगर-फ्री ओट्स कुकीज़ या डेट-बेस्ड लड्डू ट्राय करें। ये मिठाइयाँ कम कैलोरी वाली और सेहतमंद होती हैं, और इनसे आपको मीठे का स्वाद भी मिलेगा बिना ज़्यादा चीनी के। तो देखिए, इन छोटे-छोटे बदलावों से आपके फूड में स्वाद तो बना रहेगा, साथ ही वो हेल्दी भी हो जाएगा। अब अगली बार जब आप अपनी फेवरेट रेसिपी बनाएंगे, तो आपको किसी भी तरह का गिल्ट नहीं होगा, क्योंकि आप जानेंगे कि ये हेल्दी भी है।

स्मार्ट सब्स्टीट्यूशन


कम्फर्ट फूड सिर्फ स्वाद का मामला नहीं होता, बल्कि यह एक एहसास होता है, जो हमें घर की याद दिलाता है, या फिर वो पल जब हम आराम से बैठकर पसंदीदा खाना खाते हैं। लेकिन जब यही खाना हमारी सेहत पर भारी पड़ने लगे, तो मज़ा कुछ कम हो जाता है। और यहां बात आती है कि इसे हेल्दी बनाना आपके हाथ में है। थोड़े से बदलाव, थोड़ी सी समझदारी और ढेर सारा प्यार – बस इतनी सी बात है। अगर आप अपनी फेवरेट डिश को हेल्दी बनाना चाहते हैं, तो आपको थोड़ा सा ध्यान और कुछ स्मार्ट चॉइस करनी होंगी। जैसे, मैदे की जगह ओट्स या मल्टीग्रेन आटा इस्तेमाल करें, या फिर फ्राई करने की बजाय ग्रिलिंग, बेकिंग और स्टीमिंग का तरीका अपनाएं। और हां, ड्रेसिंग और सॉस के लिए घर पर बनाए हेल्दी ऑप्शंस इस्तेमाल करें। अगर आप ध्यान से खाएंगे, छोटे बर्तन में परोसेंगे, और सटीक पोर्शन कंट्रोल रखेंगे, तो आप न सिर्फ अपना वजन कंट्रोल कर पाएंगे, बल्कि अपने शरीर को भी भरपूर पोषण दे सकेंगे। तो आज ही इन टिप्स को अपनाइए और पाईए एक सेहतमंद, संतुलित और स्वादिष्ट जीवनशैली। खाना वही होगा, लेकिन आपको हर एक निवाले में वो पुरानी खुशी और ताजगी महसूस होगी, बस थोड़े स्मार्ट बदलाव के साथ।


आपका सबसे पसंदीदा कम्फर्ट फूड क्या है? क्या आप चाहते हैं उसका हेल्दी वर्जन? नीचे कमेंट करें – हम उसे आपके लिए जरूर शेयर करेंगे!

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